10 साल बाद बदल गया BMI इंडेक्स-
समय समय पर दुनिया में बदलाव होते रहते हैं यदि आप दुनिया के साथ नहीं चलते तो आप बहुत पीछे रह जाते हैं इसलिए हमेशा दुनिया के साथ चलना चाहिये। इसी तरह पिछले 10 सालों से चले आ रहे BMI इंडेक्स में भी बदलाव कर दिया गया है, नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ न्यूट्रिशन ने पुरुषों और महिलाओं के वजन और लंबाई को लेकर बड़ा बदलाव किया है, नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ न्यूट्रिशन ने पुरुषों के वजन को 60 किलो ग्राम से बढ़ाकर 65 किलोग्राम कर दिया है वहीं महिलाओं के वजन को 50 किलोग्राम से 55 किलोग्राम कर दिया है यानि अब 65 किलोग्राम वाले पुरुष और 55 किलोग्राम वाली महिलायें बिल्कुल फिट मानी जाएंगी। मालूम हो नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ न्यूट्रिशन साल 2010 में पुरुषों के 60 किलोग्राम और महिलाओं 50 किलोग्राम वजन को फिट माना था लेकीन करीब एक दशक के बाद इसमें पाँच किलोग्राम की बढ़ोत्तरी की गई है।
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नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ न्यूट्रिशन ने पुरुषों की लंबाई को 5 फुट 6 इंच यानि 171 सेंटीमीटर से बढ़ाकर 5 फुट 8 इंच कर दिया है, वहीं महिलाओं की लंबाई को 5 फुट से बढ़ाकर 5 फुट 3 इंच कर दिया है, यानि अब इस लंबाई के पुरुष और महिलायें फिट मानी जाएंगी।
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नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ न्यूट्रिशन के वैज्ञानिकों ने BMI इंडेक्स में बदलाव के लिए लोगों के पोषक खाद्य पदार्थों में बदलावों को जिम्मेदार माना है, नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ न्यूट्रिशन ने इस बार भारत के ग्रामीण क्षेत्रों को भी इस सर्वे में शामिल किया है ज्ञात हो साल 2010 मे किये सर्वे में शहरी क्षेत्र को शामिल किया गया था।
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इस साल किये सर्वे में विशेषज्ञों ने देश भर से डेटा एकत्रित किया था और अलग-अलग संस्थानों में किये गए सर्वे के आधार पर इस बनाया गया है। इस सर्वे में पहली बार आईसीएमआर विशेषज्ञों की एक्सपर्ट कमेटी ने फाइबर आधारित पोषक तत्वों को ध्यान में रखकर देता तैयार किया है, इस सर्वे में पहली बार खाने में कितना कार्बोहाइड्रेट लेना चाहिये और बच्चों को खाने में कितनी मात्रा में कार्बोहाइड्रेट देना है इसका भी ध्यान रखा गया है। इस बार की रिपोर्ट में महिलाओं, पुरुष और बच्चों के खाने में पोटेशियम, फैट, प्रोटीन और नमक की कितनी मात्रा होनी चाहिए, इन सभी चीजों का ब्योरा दिया गया है।